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विकास खंड खिर्सू के मंगलाकोटी के ग्रामीणों ने मोटर मार्ग का निर्माण न होने पर लोक निर्माण विभाग का कार्यालय घेर लिया। ग्रामीणों ने कहा कि वर्ष 2011 में शासन नेे मोटर मार्ग निर्माण की प्रथम चरण की स्वीकृति दी थी। इसके बाद विभाग की ओर से एलाइनमेंट भी किया गया लेकिन 10 साल बाद भी उनका गांव सड़क सुविधा से नहीं जुड़ पाया है।
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बुधवार को बुजुर्ग महिलाओं सहित बड़ी संख्या में लोग लोक निर्माण विभाग कार्यालय श्रीनगर पहुंचे। ग्रामीणों ने जमकर प्रदर्शन किया। इसके बाद ग्रामीणों ने लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता आरपी नैथानी से वार्ता कर आक्रोश जताया। उन्होंने कहा कि ग्रामीण 20 साल से गांव को मोटर मार्ग से जोड़ने की मांग कर रहे हैं। वर्ष 2011 में सरकार ने मोटर मार्ग निर्माण के लिए प्रथम चरण की स्वीकृति भी जारी की थी लेकिन अब तक गांव को मोटर मार्ग से नहीं जोड़ा गया है।
80 वर्षीय बुजुर्ग सीता देवी, पार्वती देवी, विमला देवी व लक्ष्मी देवी ने कहा कि उनके गांव में 40 से अधिक परिवार है। ग्रामीणों को श्रीनगर बाजार, अस्पताल व तहसील मुख्यालय तक पहुंचने के लिए वाहन से बुघाणी होते हुए 55 किमी का चक्कर लगाना पड़ रहा है। उनका गांव मोटर मार्ग से जुड़ जाता तो उनकी यह दूरी आधे से कम हो जाती। ग्रामीणों ने अधिशासी अभियंता को ज्ञापन सौंपते हुए मोटर मार्ग निर्माण की कार्रवाई शुरू न किए जाने पर आंदोलन शुरू करने की चेतावनी दी है। इस मौके पर प्रधान महादेव प्रसाद बहुगुणा, राजेंद्र सिंह कठैत, रघुवीर सिंह, गंगा सिंह, हर्षमणी डंगवाल, विरेंद्र सिंह हयात सिंह, लक्ष्मी देवी मौजूद थे।
कोट:
मंगलाकोटी मोटर मार्ग के प्रथम चरण की स्वीकृति है। दिसंबर 2019 में मोटर मार्ग का स्टीमेट स्वीकृति के लिए शासन को भेजा गया था जोकि संशोधन के लिए लौटाया गया है। एक सप्ताह के अंदर फिर से संशोधित स्टीमेट शासन को भेज दिया जाएगा। -आरपी नैथानी, अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग, श्रीनगर
बुधवार को बुजुर्ग महिलाओं सहित बड़ी संख्या में लोग लोक निर्माण विभाग कार्यालय श्रीनगर पहुंचे। ग्रामीणों ने जमकर प्रदर्शन किया। इसके बाद ग्रामीणों ने लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता आरपी नैथानी से वार्ता कर आक्रोश जताया। उन्होंने कहा कि ग्रामीण 20 साल से गांव को मोटर मार्ग से जोड़ने की मांग कर रहे हैं। वर्ष 2011 में सरकार ने मोटर मार्ग निर्माण के लिए प्रथम चरण की स्वीकृति भी जारी की थी लेकिन अब तक गांव को मोटर मार्ग से नहीं जोड़ा गया है।
80 वर्षीय बुजुर्ग सीता देवी, पार्वती देवी, विमला देवी व लक्ष्मी देवी ने कहा कि उनके गांव में 40 से अधिक परिवार है। ग्रामीणों को श्रीनगर बाजार, अस्पताल व तहसील मुख्यालय तक पहुंचने के लिए वाहन से बुघाणी होते हुए 55 किमी का चक्कर लगाना पड़ रहा है। उनका गांव मोटर मार्ग से जुड़ जाता तो उनकी यह दूरी आधे से कम हो जाती। ग्रामीणों ने अधिशासी अभियंता को ज्ञापन सौंपते हुए मोटर मार्ग निर्माण की कार्रवाई शुरू न किए जाने पर आंदोलन शुरू करने की चेतावनी दी है। इस मौके पर प्रधान महादेव प्रसाद बहुगुणा, राजेंद्र सिंह कठैत, रघुवीर सिंह, गंगा सिंह, हर्षमणी डंगवाल, विरेंद्र सिंह हयात सिंह, लक्ष्मी देवी मौजूद थे।
कोट:
मंगलाकोटी मोटर मार्ग के प्रथम चरण की स्वीकृति है। दिसंबर 2019 में मोटर मार्ग का स्टीमेट स्वीकृति के लिए शासन को भेजा गया था जोकि संशोधन के लिए लौटाया गया है। एक सप्ताह के अंदर फिर से संशोधित स्टीमेट शासन को भेज दिया जाएगा। -आरपी नैथानी, अधिशासी अभियंता लोक निर्माण विभाग, श्रीनगर
मोटर मार्ग न बनने पर ग्रामीणों ने घेरा लोनिवि का कार्यालय - अमर उजाला
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